कोटा: बच्चों पर पढ़ाई का बढ़ता हुआ दबाव कागज के पन्नों पर अंको की कमी के कारण मासूम छात्रों की जिंदगी आज मौत को गले लग रही है . अभिभावकों का बढ़ता हुआ दबाव समाज में आगे जाने की होड़ दूसरे के बच्चों के साथ अपने बच्चों का कंपटीशन मां-बाप आज इसको अपना स्टेटस सिंबल बना लिए है. बार-बार बच्चों को ताना देना बचपन में ही प्यार छिन किताबों के बोझ के तले मासूम की जिंदगी को दवा देना आज के अभिभावकों का फैशन सा हो गया है
हर मां-बाप का एक ही सपना मेरे बच्चों के हाथों में हो डॉक्टर और इंजीनियरिंग की डिग्री
डिग्री का खेल राजस्थान के कोटा में जो इतिहास लिख रहा है शायद आने वाला समय मे हम जिससे एक संयोग मान रहे हैं वह कहीं ना कहीं एक बड़े तूफान की ओर संकेत कर रहा है जिसे भूलना उन परिजनों के लिए आसान नहीं होगा जिनके बच्चे अब इस संसार में नहीं रहे .
पूरे भारत का आईआईटी और इंजीनियरिंग बनाने की फैक्ट्री मानो राजस्थान का कोटा है .आज बिहार,यूपी,,झारखंड मध्य प्रदेश,दिल्ली जैसे राज्यों के घरों के बच्चे अमीर हो या गरीब आज कोटा में मेडिकल इंजीनियरिंग के तैयारी के लिए अपना सब कुछ कुर्बान करने को तैयार है .
घर से दूर ,कोटा बना अभिभावकों की पहली पसंद
छोटी सी उम्र में ही अपने घर को छोड़ पढ़ाई के लिए कोटा जैसे मेडिकल इंजीनियरिंग के हब में अपने बच्चों को छोड़ना आज कहीं ना कहीं घर के फ्रस्ट्रेशन और अभिभावकों का प्रेशर कोटा में बच्चों द्वारा आत्महत्या की घटना का प्रमुख कारण बन गया है.
5 घंटे के अंदर दो छात्रों ने की आत्महत्या
पहली घटना आदर्श नाम के एक छात्रा ने अपने कमरे में पंखे से फांसी लगाकर आत्महत्या की. खबर है की आदर्श अपने कम अंकों के आने के कारण काफी परेशान था आदर्श जब दरवाजा नहीं खोला तो उसके दोनों भाई-बहन द्वारा दरवाजा को तोड़कर खोला गया तो पाया गया कि आदर्श पंखे से लटका हुआ है वह अपने चचेरे भाई बहन के साथ नीट की कोचिंग की तैयारी कोटा के रेड मार्क इलाके में रहकर कर रहा था
वहीं दूसरी घटना छात्र द्वारा छठी मंजिल से कूद कर आत्महत्या की गई .यह दोनों घटना का अंतराल मात्र 5 घंटे का है दोनों छात्र कहीं ना कहीं कम अंक आने के कारण काफी परेशान थे
जिला पदाधिकारी ने दो महीना तक कोचिंग में टेस्ट सीरीज पर लगाई रोक
छात्रों द्वारा आत्महत्या की बढ़ती घटना को देखकर जिला पदाधिकारी ने दो महीने तक किसी भी कोचिंग इंस्टीट्यूट द्वारा कोटा में टेस्ट सीरीज पर रोक लगा दी है.
जरूर पढ़ें! मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने क्या कहा था
कुछ दिन पहले आत्महत्या की घटना पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने लगाई थी कोचिंग संचालकों को फटकार छात्रों को दी थी नसीहत और कहा था आईआईटियन और डॉक्टर बन आप खुदा नहीं बन जाते है
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कोटा में 8 महीना में 21 छात्रों ने की आत्महत्या. IITian और डॉ. बन आप खुदा नहीं बन जाते. CM – गहलोत. पढ़ाई का बोझ आत्महत्या का कारण