पीएम मोदी: मानवाधिकार के नाम पर कुछ लोग देश की छवि खराब करने की कर रहे कोशिश
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के 28 वें स्थापना दिवस को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि कुछ लोग देश की छवि खराब करने की कोशिश कर रहे हैं.

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के 28 वें स्थापना दिवस को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि कुछ लोग देश की छवि खराब करने की कोशिश कर रहे हैं.
उन्होंने आगे कहा कि हाल के वर्षों में मानवाधिकार की व्याख्या कुछ लोग अपने-अपने तरीके से, अपने-अपने हितों को देखकर करने लगे हैं. एक ही प्रकार की किसी घटना में कुछ लोगों को मानवाधिकार का हनन दिखता है और वैसी ही किसी दूसरी घटना में उन्हीं लोगों को मानवाधिकार का हनन नहीं दिखता. इस तरह का सलेक्टिव व्यवहार, लोकतंत्र के लिए भी उतना ही नुकसानदायक होता है. पीएम ने कहा कि मानवाधिकार का बहुत ज्यादा हनन तब होता है जब उसे राजनीतिक रंग से देखा जाता है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते वर्षों में देश ने अलग-अलग वर्गों में, अलग-अलग स्तर पर हो रहे अन्याय को भी दूर करने का प्रयास किया है. उन्होंने अपने संबोधन में गरीबों, महिलाओं और दिव्यांगों के सशक्तीकरण के लिए अपनी सरकार द्वारा उठाए गए विभिन्न कदमों को भी रेखांकित किया. उन्होंने कहा कि दशकों से मुस्लिम महिलाएं तीन तलाक के खिलाफ कानून की मांग कर रही थीं और उनकी सरकार ने तीन तलाक के खिलाफ कानून बनाकर, मुस्लिम महिलाओं को नया अधिकार दिया है.
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘यह समझना महत्वपूर्ण है कि मानवाधिकार केवल अधिकारों से नहीं जुड़ा है बल्कि यह हमारे कर्तव्यों का भी विषय है.’ उन्होंने कहा, ‘अधिकार और कर्तव्य दो ऐसे रास्ते हैं जिन पर मानव विकास और मानव गरिमा की यात्रा आगे बढ़ती है तथा कर्तव्य भी अधिकारों के समान ही महत्वपूर्ण हैं एवं उन्हें अलग नहीं देखना चाहिए, क्योंकि वे एक दूसरे के पूरक हैं.’
पीएम ने आगे कहा कि आज देश ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास’ के मूल मंत्र पर चल रहा है. यह एक तरह से मानव अधिकार को सुनिश्चित करने की ही मूल भावना है.’